Abhishek Banerjee SIR issue : तृणमूल कांग्रेस के अखिल भारतीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने मतदाता सूची के व्यापक पुनरीक्षण को लेकर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार को एक बार फिर चुनौती दी है। अभिषेक ने कहा कि अगर केंद्र चुनाव आयोग द्वारा प्रस्तावित SIR का समर्थन करता है, तो नैतिकता के आधार पर लोकसभा भंग कर नए चुनाव कराए जाने चाहिए।
इंडिया अलायंस SIR और मतदाता सूची में खामियों के खिलाफ संयुक्त रूप से विरोध प्रदर्शन कर रहा है। दो दिन पहले, चुनाव आयोग मुख्यालय पर छापेमारी में विपक्षी सांसदों को प्रताड़ित किया गया था। इसके बाद मंगलवार को अभिषेक ने केंद्र को चुनौती दी कि अगर नैतिकता है, तो लोकसभा भंग करके पूरे देश में SIR का आयोजन करे। बुधवार को उन्होंने सोशल मीडिया पर यही चुनौती पोस्ट की और भाजपा को फिर से चुनौती दी।
लोकसभा भंग करने की मांग
तृणमूल कांग्रेस के अखिल भारतीय महासचिव ने कहा “चुनाव आयोग का कहना है कि मतदाता सूची गलत और अनियमितताओं से भरी है। सवाल यह है कि एक साल पहले इसी मतदाता सूची पर लोकसभा चुनाव हुए थे। अगर भारत सरकार वाकई चुनाव आयोग के इस बयान का समर्थन करती है, तो सरकार को भी आगे आना चाहिए। नैतिकता के लिए, पहले लोकसभा भंग कर देनी चाहिए। अगर कोई वाकई SIR का समर्थन करता है, तो हमें कहना होगा कि इस देश की जनता के साथ धोखा हो रहा है।”
अभिषेक ने NDA और EC को दी चुनौती
अभिषेक ने न केवल सरकार बल्कि चुनाव आयोग को भी कई चुनौतियां दीं। तृणमूल कांग्रेस के अखिल भारतीय महासचिव ने कहा, “अगर मौजूदा चुनाव आयुक्त वाकई खुद को निष्पक्ष समझते हैं, तो वोट-केंद्रित राज्यों में सुधार करने के बजाय पूरे देश के लिए SIR करें। अगर आप वाकई निष्पक्ष हैं, तो घटनाक्रम को समझें। पहले लोकसभा भंग करें। पूरे देश के लिए SIR करें और फिर चुनाव में जाएँ। जनता का सामना करें।” दरअसल, विपक्षी खेमा SIR मुद्दे पर केंद्र पर दबाव बढ़ा रहा है। तृणमूल इसमें अग्रणी भूमिका निभा रही है। यह देखना बाकी है कि भाजपा अभिषेक की नई चुनौती पर क्या प्रतिक्रिया देती है।