Bihar Election: महागठबंधन में ‘ठनी जंग’! लालू यादव ने दिए सिंबल, फिर 12 घंटे में क्यों लिए वापस?

राजद सुप्रीमो लालू यादव ने हाल ही में पार्टी के 10 प्रत्याशियों को चुनाव चिन्ह सौंपा, लेकिन महज 12 घंटे के भीतर ही वह सिंबल वापस ले लिया गया। इस फैसले से सियासी हलचल तेज हो गई है।

Aanchal Singh
Bihar Election
Bihar Election

Bihar Election: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 (Bihar Assembly elections) से पहले राज्य की सियासत तेजी से गर्म हो रही है। जहां एक ओर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) में सीट शेयरिंग की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, वहीं विपक्षी गठबंधन यानी महागठबंधन में सीटों के बंटवारे को लेकर अब भी स्थिति स्पष्ट नहीं है। बातचीत में लगातार देरी के चलते सियासी गलियारों में चर्चा है कि कांग्रेस महागठबंधन से अलग होकर 243 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतार सकती है। इसी को लेकर कांग्रेस ने राज्य की सभी विधानसभा सीटों पर संभावित प्रत्याशियों की सूची तैयार करने के निर्देश भी दे दिए हैं।

Read More:Bihar Election: सीट बंटवारे पर घमासान! महागठबंधन में दरार की आहट? तेजस्वी ने दिया अल्टीमेटम

लालू यादव का सिंबल ड्रामा

बताते चले कि, बीते दिन राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) ने 10 प्रत्याशियों को पार्टी का सिंबल सौंपा। इनमें मटिहानी से बोगो सिंह, परबत्ता से संजीव सिंह और मनेर से भाई वीरेंद्र जैसे प्रमुख नाम शामिल थे। टिकट वितरण की तस्वीरें भी सामने आई। लेकिन महज 12 घंटे के भीतर ही खबर आई कि पार्टी ने कई प्रत्याशियों से सिंबल वापस ले लिए हैं। इसे लेकर राजनीतिक हलचल और तेज हो गई है। माना जा रहा है कि कांग्रेस के दबाव के चलते लालू यादव को यह कदम उठाना पड़ा।

तेजस्वी की चुप्पी और राहुल गांधी से मुलाकात टली

इधर, सीट बंटवारे को लेकर कांग्रेस और आरजेडी में टकराव के बीच एक और बड़ा संकेत तब मिला जब नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) राहुल गांधी से मुलाकात किए बिना ही रातों-रात पटना लौट आए। इससे यह अटकलें तेज हो गईं कि गठबंधन में अंदरूनी सहमति नहीं बन पा रही है। वहीं, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के आवास पर सोमवार देर रात बिहार कांग्रेस नेताओं की बैठक हुई। बैठक के बाद नेताओं को दिल्ली में ही रुकने का निर्देश दिया गया, जिससे यह तय माना जा रहा है कि कांग्रेस भी अब आरपार की रणनीति पर काम कर रही है।

Read More:Bihar Election: NDA Seat बंटवारे पर घमासान! 101 सीटें मंजूर, पर इन 9 पर क्यों अड़े Nitish Kumar? जानें अंदर की बात

कांग्रेस का रुख सख्त, अब ‘संख्या नहीं गुणवत्ता’ की बात

सूत्रों के अनुसार कांग्रेस हाईकमान ने स्पष्ट कर दिया है कि इस बार सीटों की संख्या से ज्यादा उम्मीदवारों की गुणवत्ता पर जोर दिया जाएगा। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि महागठबंधन के भीतर सीटों को लेकर सहमति कैसे बनती है। सोशल मीडिया पर भी नेताओं के बीच तल्खी देखने को मिली। आरजेडी सांसद मनोज झा ने प्रेम और धैर्य की शायरी साझा की, तो कांग्रेस सांसद इमरान प्रतापगढ़ी और श्रीनिवास बीवी ने भी जवाबी तंज कसे।

अंदरखाने चल रही रस्साकशी

पटना लौटते ही तेजस्वी यादव ने मीडिया से कहा कि “दो-तीन दिनों में सब स्पष्ट हो जाएगा, कोई दिक्कत नहीं है। सब कुछ ठीक है।” हालांकि, अंदरखाने चल रही रस्साकशी कुछ और ही संकेत दे रही है। सीटों को लेकर अगर सहमति जल्द नहीं बनती, तो बिहार में विपक्षी एकता को बड़ा झटका लग सकता है। अब निगाहें 14 अक्टूबर की संभावित बैठक और सीट शेयरिंग के अंतिम निर्णय पर टिकी हैं।

Read More:Bihar Elections 2025: तेज प्रताप की नई राजनीतिक चाल, महुआ से लड़ेंगे चुनाव, 21 प्रत्याशी उतारे

Share This Article

अपना शहर चुनें

Exit mobile version