आयुष्मान कार्ड बनवाना हुआ आसान: नोएडा में लगे विशेष शिविर में करवाएँ रजिस्ट्रेशन

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लखनऊ 
उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर में आयुष्मान भारत योजना को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने बड़ा अभियान शुरू किया है. 25 दिसंबर 2025 तक जिले में चलने वाले इस विशेष अभियान में आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए कई जगहों पर कैंप लगाए जा रहे हैं. ताकि ज्यादा से ज्यादा पात्र परिवार योजना से जुड़ सकें. एक महीने के विशेष अभियान में शहर से लेकर गांव तक अलग-अलग स्थानों पर कैंप लगाए जा रहे हैं, जहां लोग मौके पर ही अपना आयुष्मान गोल्डन कार्ड बनवा सकते हैं.

जिला आयुष्मान नोडल अधिकारी डॉक्टर संजीव सारस्वत ने जानकारी देते हुए बताया कि गौतम बुद्ध नगर जिले में करीब 80 सरकारी और प्राइवेट हॉस्पिटल हैं, जिसमें इस योजना का लाभ उठा सकते हैं. आप अस्पतालों में जाकर भी अपना आयुष्मान कार्ड बनवा सकते हैं. वर्तमान में जिले के 1,83,060 नागरिक इस योजना के अंतर्गत हर साल 5 लाख रुपये तक के मुफ्त और कैशलेस इलाज का लाभ ले रहे हैं. शासन का लक्ष्य है कि गौतम बुद्ध नगर में कुल 2,96,802 आयुष्मान कार्ड बनाए जाएं. इसी लक्ष्य को पूरा करने के लिए स्वास्थ्य विभाग अब तेजी से अभियान चला रहा है.

कहां-कहां लग रहे हैं स्पेशल कैंप?
नोडल अधिकारी डॉक्टर संजीव सारस्वत ने बताया कि 25 नवंबर से शुरू हुए इस एक महीने के अभियान में जिला अस्पताल, सेक्टर 30 सभी CHC और PHC केंद्र, जनसेवा केंद्र (CSC), पंचायत भवन, प्राइवेट हॉस्पिटल में कैंप लगाए जा रहे हैं. इन कैंप में लोग अपने आधार कार्ड और राशन कार्ड के जरिए आयुष्मान कार्ड बनवा सकते हैं.

5 लाख रुपये तक मुफ्त इलाज
डॉक्टर सारस्वत के अनुसार आयुष्मान कार्ड बनने के बाद लाभार्थी को बड़े ऑपरेशन, गंभीर बीमारियां, दुर्घटना उपचार, ICU, कैंसर जैसी खर्चीली बीमारी का इलाज पूरी तरह कैशलेस और मुफ्त मिलता है. यह सुविधा जिले के सभी सरकारी अस्पतालों के साथ-साथ लिस्टेड प्राइवेट अस्पतालों में भी उपलब्ध है. डॉक्टर सारस्वत ने कहा जो भी परिवार पात्र हैं और अब तक आयुष्मान कार्ड नहीं बनवा पाए हैं. वह 25 दिसंबर से पहले स्पेशल कैंप में जाकर अपना कार्ड जरूर बनवा लें.

इसके साथ ही कहा कि अगर किसी को इलाज में कोई दिक्कत आ रही हो तो वह सीधे हमसे संपर्क कर सकता है. यह विशेष अभियान उन गरीब, कमजोर और वंचित परिवारों के लिए राहत है, जो इलाज का भारी खर्च नहीं उठा पाते. स्वास्थ्य विभाग का मानना है कि 25 नवंबर से 25 दिसंबर तक चल रहे इस अभियान के बाद लक्ष्य का बड़ा हिस्सा पूरा हो जाएगा. 

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