Israel-Iran Ceasefire:मध्य पूर्व में शांति की उम्मीदों को बड़ा झटका उस वक्त लगा जब अमेरिकी पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा युद्धविराम की घोषणा के कुछ ही घंटे बाद ईरान ने इजरायल पर मिसाइलों से हमला कर दिया। यरुशलम और तेल अवीव में जोरदार धमाकों की आवाजें गूंजीं, जिससे पूरे इलाके में दहशत फैल गई। इस हमले में कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई और कई घायल हुए हैं।
सीजफायर की पहल के बीच हमला
यह हमला ऐसे समय में हुआ जब ईरान और इजरायल के बीच युद्धविराम को लेकर बातचीत चल रही थी। ईरानी विदेश मंत्री अब्बास अरागची ने कुछ ही घंटे पहले बयान दिया था कि यदि इजरायल सुबह 4 बजे तक अपने हवाई हमले रोक देता है, तो ईरान भी जवाबी कार्रवाई से पीछे हट जाएगा। लेकिन इसके बाद ईरान की ओर से मिसाइल दागे जाने से युद्धविराम की संभावनाएं कमजोर पड़ गईं।
यरुशलम, तेल अवीव और बीरशेबा में धमाके
एक रिपोर्ट के अनुसार, ईरानी मिसाइल हमले में बीरशेबा शहर की एक इमारत को नुकसान पहुंचा है, जिसमें 3 नागरिकों की जान चली गई और कई अन्य घायल हो गए। इसके अलावा, यरुशलम और तेल अवीव जैसे प्रमुख शहरों में भी भारी धमाकों की आवाजें सुनी गईं।इजरायल डिफेंस फोर्सेज (IDF) के अनुसार, हमले के तुरंत बाद देशभर में सायरन बजा दिए गए ताकि नागरिक सतर्क हो जाएं। लोग बंकरों और सुरक्षित स्थानों की ओर भागे।
इजरायल की प्रतिक्रिया
ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में दावा किया था कि ईरान और इजरायल ने सीजफायर पर सहमति बना ली है, जो 6 घंटे के भीतर लागू होगा। लेकिन ईरान के मिसाइल हमलों ने अमेरिकी प्रयासों पर सवाल खड़ा कर दिया है। अब यह स्पष्ट नहीं है कि बातचीत किस दिशा में आगे बढ़ेगी और क्या दोनों देश फिर से टेबल पर लौटेंगे।
ईरानी विदेश मंत्री की शर्त और हमला – क्या है लिंक?
अरागची ने मंगलवार तड़के बयान जारी कर कहा था कि “यदि इजरायल हमला रोकता है, तो हम भी नहीं करेंगे।” लेकिन सुबह 4 बजे के बाद हुआ हमला यह बताता है कि या तो ईरान की शर्तें पूरी नहीं हुईं या फिर दोनों देशों के बीच भरोसे की भारी कमी है।