Mallikarjun Kharge On BJP: राज्यसभा में राष्ट्रीय गीत ‘वंदे मातरम्’ को लेकर तीखी बहस देखने को मिली। गृह मंत्री अमित शाह द्वारा इस विषय पर चर्चा की शुरुआत होते ही सदन का माहौल गर्म हो गया। शाह ने कहा कि जो लोग वंदे मातरम् के ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व को नहीं समझते, वही इसे चुनावी चश्मे से देखते हैं।अमित शाह ने अपने वक्तव्य में कांग्रेस पर सीधा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि विपक्ष वंदे मातरम् जैसे राष्ट्रीय मुद्दे को भी राजनीतिक रंग देने की कोशिश कर रहा है। शाह ने कहा कि देश की आज़ादी और जनजागरण के इतिहास में वंदे मातरम् की भूमिका बेहद अहम रही है, इसलिए इसे किसी पार्टी की दृष्टि से नहीं देखा जाना चाहिए। शाह के अनुसार, ‘कुछ लोग इस गीत की भावनात्मक शक्ति को नहीं समझते और इसे चुनावी राजनीति से जोड़कर जनता को भ्रमित करते हैं।’
Mallikarjun Kharge On BJP: विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे का पलटवार
गृह मंत्री के बयान के तुरंत बाद राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने तीखा प्रतिवाद किया। उन्होंने कहा कि भाजपा ऐसे दिखाती है जैसे केवल वही राष्ट्रभक्ति की प्रतीक है, जबकि इतिहास इसका उल्टा है। खरगे ने तंज कसते हुए कहा कि ‘जो लोग कल तक वंदे मातरम् बोलने से कतराते थे, वही आज सबसे ज्यादा शोर मचा रहे हैं।’
Mallikarjun Kharge On BJP: सदन में वंदे मातरम् के नारे गूंजे
अपनी बात रखते हुए खरगे ने सदन में खड़े होकर ज़ोरदार आवाज़ में ‘वंदे मातरम्, वंदे मातरम्’ के नारे लगाए। उन्होंने कहा कि वह पिछले 60 वर्षों से यह गीत गाते आ रहे हैं, जबकि भाजपा के नेता अब इसे राजनीति का मुद्दा बना रहे हैं। इस दौरान सदन में कुछ देर तक अभूतपूर्व माहौल देखा गया, जहां सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों की ओर से नारे सुनाई दिए।मल्लिकार्जुन खरगे ने भाजपा पर ऐतिहासिक आरोप लगाते हुए कहा कि यह वही लोग हैं जिन्होंने कभी मुस्लिम लीग के साथ मिलकर सरकार बनाई थी। उन्होंने पूछा कि ‘उस समय इनकी राष्ट्रभक्ति कहां गई थी?’ खरगे के अनुसार, आज भाजपा कांग्रेस पर राष्ट्रभक्ति का प्रमाणपत्र बांट रही है, लेकिन इतिहास में उनके कदमों से सवाल उठते हैं।
सभापति को धन्यवाद और बंकिमचंद्र चटर्जी को नमन
खरगे ने कहा कि गृह मंत्री के भाषण के बाद उन्हें बोलने का अवसर दिए जाने के लिए वह सभापति के आभारी हैं। उन्होंने कहा कि यह उनके लिए सम्मान की बात है कि उन्हें इतने महत्वपूर्ण मुद्दे पर अपनी बात रखने का मौका मिला। खरगे ने वंदे मातरम् के रचयिता बंकिमचंद्र चटर्जी को श्रद्धांजलि देते हुए कहा, ‘कांग्रेस की ओर से मैं बंकिमजी को नमन करता हूं।’पूरी बहस के दौरान राज्यसभा में माहौल कई बार उत्तेजित हुआ। दोनों पक्ष एक-दूसरे पर राष्ट्रगीत के नाम पर राजनीति करने का आरोप लगाते दिखे। जहां अमित शाह ने कहा कि वंदे मातरम् राष्ट्रीय भावना का प्रतीक है और इसे चुनावी संदर्भ में नहीं देखा जाना चाहिए, वहीं खरगे ने आरोप लगाया कि भाजपा इसे राष्ट्रीयता की आड़ में राजनीतिक लाभ के लिए इस्तेमाल कर रही है।
राष्ट्रीय गीत पर राजनीति का ‘सुर’
वंदे मातरम् के मुद्दे पर राज्यसभा में हुई चर्चा ने स्पष्ट कर दिया कि यह विषय केवल भावनाओं से नहीं, बल्कि राजनीति से भी गहराई से जुड़ा हुआ है। सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों ने राष्ट्रगीत को लेकर अपनी-अपनी ऐतिहासिक और विचारधारात्मक स्थितियों के आधार पर तर्क दिए। लेकिन इस पूरी बहस में एक बात साफ रही वंदे मातरम् का महत्व और उसकी गरिमा को लेकर सभी सहमत हैं, बहस सिर्फ इसके राजनीतिक इस्तेमाल पर है।
