Masik Shivratri 2025: सनातन धर्म में कई सारे व्रत त्योहार पड़ते हैं और सभी का अपना महत्व होता है। लेकिन मासिक शिवरात्रि को बेहद ही खास माना गया है, जो कि महादेव की साधना आराधना को समर्पित है। इस दिन भक्त भगवान शिव की विधि विधान से पूजा करते हैं और दिनभर उपवास आदि भी रखते हैं, मान्यता है कि ऐसा करने से महादेव की असीम कृपा बरसती है और कष्टों का निवारण हो जाता है।
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पंचांग के अनुसार कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि पर भी मासिक शिवरात्रि का व्रत रखा जाएगा। इस दिन सच्चे मन से शिव को जल चढ़ाने से जीवन के सारे दुख परेशानियां दूर हो जाती हैं। तो हम आपको मासिक शिवरात्रि की तारीख और पूजा विधि बता रहे हैं।

मासिक शिवरात्रि की तारीख
हिंदू पंचांग के अनुसार आषाढ़ माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि का आरंभ 23 जून को रात 10 बजकर 9 मिनट पर हो रहा है। वहीं इसका समापन 24 जून को शाम 6 बजकर 59 मिनट पर हो जाएगा। उदया तिथि के अनुसार 24 जून को आषाढ़ माह की शिवरात्रि मनाई जाएगी।
मासिक शिवरात्रि की पूजा विधि
मासिक शिवरात्रि के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि करें इसके बाद साफ वस्त्रों को धारण करें। फिर पूजा स्थल पर गंगाजल छिड़क कर शुद्ध करें। इसके बाद चौकी पर शिव पार्वती की प्रतिमा स्थापित करें। इसके बाद शिवलिंग का जल, दूध, दही, शहद से अभिषेक करें। महादेव को बेलपत्र, धतूरा, फल, पुष्प चढ़ाएं।
अब घी का दीपक जलाएं, इस दौरान शिव जी के मंत्रों का जाप करते रहें। फिर शुद्ध व साफ मिठाई का शिव परिवार को भोग लगाएं। इसके बाद मासिक शिवरात्रि की व्रत कथा जरूर पढ़ें आखिर में भगवान शिव की आरती करें। जिन लोगों के वैवाहिक जीवन में समस्याएं चल रही हैं, वे मासिक शिवरात्रि के दिन देवी पार्वती को सुहाग का सामान अर्पित करें। इससे रिश्ते बेहतर होंगे।

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Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां पौराणिक कथाओं,धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है। खबर में दी जानकारी पर विश्वास व्यक्ति की अपनी सूझ-बूझ और विवेक पर निर्भर करता है।प्राइम टीवी इंडिया इस पर दावा नहीं करता है ना ही किसी बात पर सत्यता का प्रमाण देता है।
