SCO Summit 2025:रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शंघाई सहयोग संगठन (SCO) समिट 2025 के तहत चीन के क़िंगदाओ शहर में आयोजित रक्षा मंत्रियों की बैठक में भाग लिया। इस दौरान उन्होंने चीन के रक्षामंत्री एडमिरल डॉन्ग जून से द्विपक्षीय वार्ता की। इस महत्वपूर्ण बैठक में भारत और चीन के बीच छह वर्षों से रुकी कैलाश मानसरोवर यात्रा को फिर से शुरू करने पर सहमति बनी, जो भारतवासियों के लिए एक बड़ी खुशखबरी है।राजनाथ सिंह ने इस मुलाकात को “रचनात्मक और दूरदर्शी” बताया। उन्होंने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट कर कहा कि भारत और चीन के बीच द्विपक्षीय संबंधों पर सकारात्मक चर्चा हुई और लंबे समय बाद कैलाश मानसरोवर यात्रा फिर से आरंभ की जाएगी। यात्रा को लेकर दोनों देशों के बीच सहमति बनने से धार्मिक और सांस्कृतिक संबंधों को भी मजबूती मिलेगी।
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राजनाथ सिंह ने साझा की जानकारी
अपने पोस्ट में रक्षा मंत्री ने लिखा, “क़िंगदाओ में एससीओ रक्षा मंत्रियों की बैठक के दौरान चीन के रक्षामंत्री एडमिरल डॉन्ग जून के साथ बातचीत हुई। हमने द्विपक्षीय मामलों पर विस्तृत और दूरदर्शी संवाद किया। लगभग छह साल बाद कैलाश मानसरोवर यात्रा की पुनः शुरुआत को लेकर खुशी व्यक्त करता हूँ।” यह निर्णय धार्मिक दृष्टिकोण से ही नहीं, बल्कि भारत-चीन रिश्तों में एक सकारात्मक संकेत के रूप में भी देखा जा रहा है।कैलाश मानसरोवर यात्रा हर साल सैकड़ों भारतीय श्रद्धालुओं द्वारा की जाती है, लेकिन सीमा विवादों और कोविड-19 के कारण यह यात्रा 2019 से बंद थी। अब छह वर्षों के लंबे अंतराल के बाद इसके फिर से शुरू होने की संभावना ने श्रद्धालुओं में उत्साह भर दिया है।
रूस और बेलारूस के रक्षामंत्रियों से भी हुई अहम बातचीत
एससीओ समिट में राजनाथ सिंह की चीन के अलावा रूस और बेलारूस के रक्षामंत्रियों से भी मुलाकात हुई। उन्होंने क्षेत्रीय सुरक्षा, आपसी रक्षा सहयोग और रणनीतिक साझेदारी जैसे मुद्दों पर चर्चा की। रूस के रक्षा मंत्री आंद्रेई बेलौसोव के साथ दीर्घकालिक सहयोग को और मज़बूत करने की बात सामने आई। भारत और रूस के बीच रक्षा क्षेत्र में गहरा सहयोग है, जिसे आईआरआईजीसी-एम एंड एमटीसी (IRIGC-M&MTC) ढांचे के तहत दिशा मिलती है।बेलारूस के रक्षा मंत्री लेफ्टिनेंट जनरल विक्टर ख्रेनिन से भी राजनाथ सिंह की उपयोगी चर्चा हुई। दोनों नेताओं ने क्षेत्र में उभरती चुनौतियों और सामरिक साझेदारी के विषयों पर विचार-विमर्श किया।

