Shahbaz Sharif UNGA: संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) के मंच से पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने शुक्रवार (26 सितंबर 2026) को अपना संबोधन दिया। इस भाषण में उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की जमकर तारीफ की, ऑपरेशन सिंदूर को लेकर कई झूठे और विवादित दावे किए, साथ ही कश्मीर को लेकर पुरानी, नीतिगत बयानबाजी दोहराई।
ट्रंप की जमकर तारीफ
शहबाज शरीफ ने कहा कि अगर डोनाल्ड ट्रंप बीच में हस्तक्षेप न करते, तो दक्षिण एशिया में बड़ा युद्ध छिड़ जाता। उन्होंने यहां तक दावा किया कि पाकिस्तान ट्रंप को नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामित करता है। शरीफ के मुताबिक, ट्रंप एक शांतिप्रिय शख्स हैं और उनके कारण क्षेत्र में शांति बनी हुई है।उनका कहना था,”अगर ट्रंप बीच में न आते तो दक्षिण एशिया युद्ध के गर्त में डूब जाता। पाकिस्तान की तरफ से ट्रंप को नोबेल शांति पुरस्कार के लिए नामित करना एक छोटा सा सम्मान है।”
ऑपरेशन सिंदूर को लेकर कई झूठे दावे
पाकिस्तान के पीएम ने ऑपरेशन सिंदूर को लेकर भी कई दावे किए, जिन्हें विशेषज्ञ और विश्लेषक पूरी तरह खारिज कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि मई में हुए ऑपरेशन के दौरान पाकिस्तान ने भारत के 7 जेट विमान मार गिराए।इसके अलावा, उन्होंने फिलिस्तीन में इजरायली हमलों में मारी गई 7 साल की बच्ची हिंदरजाब की मौत का उदाहरण देते हुए बताया कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पाकिस्तान में भी एक 6 साल के बच्चे की मौत हुई, जिसे लेकर उन्होंने भावुक होकर कहा “हमने भी अपने कंधों पर मासूम के ताबूत उठाए हैं। ताबूत जितने छोटे होते हैं, वे उतने ही भारी होते हैं।”
पुरानी राजनीति और कश्मीर पर फिर से तंज
शहबाज शरीफ ने अपने भाषण की शुरुआत कुरान की आयत से करते हुए कहा कि आज की दुनिया में आतंकवाद और अंतरराष्ट्रीय कानूनों का उल्लंघन बड़ी चुनौतियां हैं। उन्होंने बार-बार भारत पर निशाना साधा और आरोप लगाया कि भारत पहलागाम हमले की अंतरराष्ट्रीय जांच से बच रहा है और पाकिस्तान पर गलत आरोप लगा रहा है।उन्होंने यह भी दावा किया कि भारत सिंधु जल संधि का उल्लंघन कर रहा है और पानी रोकना पाकिस्तान के खिलाफ युद्ध की घोषणा के समान है। शरीफ ने कहा,”पाकिस्तान कश्मीर के लोगों के साथ खड़ा है और हम उनके लिए जनमत संग्रह की मांग करते हैं।”
आतंकवाद के मुद्दे पर पाकिस्तान के दावे विवादास्पद
आतंकवाद के मुद्दे पर भी शरीफ ने दावे किए कि पाकिस्तान ने पिछले 20 वर्षों में 90,000 से ज्यादा जानें गंवाई हैं। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान में आतंकवाद भारत और अन्य देशों की मदद से पनप रहा है। उन्होंने आतंकवादी संगठनों जैसे टीटीपी, बीएलए और ‘फितना-ए-हिंदुस्तान’ का नाम भी लिया।
शहबाज शरीफ का संयुक्त राष्ट्र महासभा में दिया गया भाषण अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए कोई नया संदेश नहीं था। ट्रंप की तारीफ के साथ-साथ ऑपरेशन सिंदूर के झूठे दावों और कश्मीर मुद्दे पर पुरानी राजनीतिक बातों ने इस भाषण को विवादास्पद बना दिया। विशेषज्ञ इसे पाकिस्तान की रणनीतिक चाल और अपनी छवि सुधारने की कोशिश मान रहे हैं, लेकिन विश्व स्तर पर इसे गंभीरता से नहीं लिया जा रहा।
