भगवान की शरणागति ही जीवन का सर्वोत्तम उपाय है…

Shankhdhar Shivi

प्रतापगढ़ संवाददाता – गणेश राय

प्रतापगढ़ सर्वोदय सद्भावना संस्थान के तत्वावधान में रामानुज आश्रम शिवजी पुरम में पुरुषोत्तम मास के समापन दिवस के पावन पर्व पर एक संत समागम हुआ। जिसमें परम पूज्य जगद्गुरु रामानंदाचार्य श्री श्री 1008 स्वामी श्री वल्लभाचार्य श्री राम हर्षण मैथिल संख्य पीठाधीश्वर अयोध्या धाम मुख्य अतिथि के रुप में पधारे।

अंगवस्त्रम एवं रामानुज पञ्चाङ्गम भेंट किया…

भक्तों ने आपका पाद्द प्रक्षालन एवं आरती किया। धर्माचार्य ओम प्रकाश पांडे अनिरुद्ध रामानुज दास एवं नारायणी रामानुज दासी ने माल्यार्पण करके अंगवस्त्रम एवं रामानुज पञ्चाङ्गम भेंट किया। स्वामी जी ने सीताराम नाम का संकीर्तन कराने के पश्चात कहा कि जीव के कल्याण का केवल एक ही रास्ता है कि भगवान लक्ष्मी नारायण एवं सीताराम भगवान की शरणागति में किसी सद्गुरु के शरण में जाकर प्राप्त करे। माता श्री जी की कृपा से प्रभु सदा प्रसन्न होते हैं। इसीलिए हम भगवान नारायण के आगे लक्ष्मी जी प्रभु श्री राम के आगे सीता जी भगवान श्री कृष्ण के आगे राधा रानी सरकार का नाम लेते हैं। यदि हमें कुछ पाने की लालसा है तो हमें श्री जी की शरण में जाना ही पड़ेगा। जप के द्वारा समस्त सिद्धियों को प्राप्त किया जा सकता है।

कलयुग में सीताराम संकीर्तन ही मनुष्य के भवसागर को पार करने की नैया है। मर्यादा पुरुषोत्तम प्रभु श्री राम बड़े ही दयालु एवं करुणा के सागर हैं। संतों पर कृपा करने के लिए आपने 14 वर्ष वनवास में विताया। प्रेम के वशीभूत होकर शबरी के झूठे बेर खाए। अपने शत्रु रावण को भी मुक्ति प्रदान किया। इसलिए भगवान की शरणागति ही जीवन का सर्वोत्तम उपाय है।

तुम्हारा नाम पुरुषोत्तम मास होगा…

धर्माचार्य ओमप्रकाश पांडे अनिरुद्ध रामानुजदास ने कहा भगवान श्रीमन्नारायण अधिक मास के निवेदन पर कि लोग मुझे मासों का मल कहते हैं इसलिए मुझे मलमास कहा जाता है। भगवान नारायण ने कहा मैं तुम्हें अपना नाम देता हूं। आज से तुम्हारा नाम पुरुषोत्तम मास होगा। पुरुषोत्तम मास में लक्ष्मी नारायण सीताराम शालिग्राम की जो सेवा करता है उसे अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है। पुरुषोत्तम मास में तुलसी के एक पत्ते से भी भगवान की जो सेवा करता है वह ठाकुर जी का कृपा पात्र बनता है।

कार्यक्रम में मुख्य रूप से संत रामदास जी महाराज अयोध्या धाम संत जानकी दास जी महराज धीरज शास्त्री आचार्य विनय अनुराग जी अशोक जी हर्ष सिंह डॉ अवंतिका पांडे राकेश सिंह विश्वम प्रकाश पांडे इं पूजा पांडे डॉ अंकिता पांडे रामचंद्र उमर वैश्य श्याम मोहन उमर वैश्य सहित अनेक भक्त घर उपस्थित रहे।

Share This Article

अपना शहर चुनें

Exit mobile version