Tejashwi Yadav : राजद के नेता तेजस्वी यादव ने बिहार की मौजूदा सरकार पर कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि पिछले 20 सालों में बिहार के विकास के नाम पर कुछ भी ठोस नहीं किया गया। तेजस्वी ने सवाल उठाया कि शिक्षा, कमाई, सिंचाई, दवाई, प्रति व्यक्ति आय और निवेश जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों में इतनी खराब स्थिति क्यों है। उन्होंने कहा कि यह हालात तब हैं जब बिहार में सरकार लंबे समय से सत्ता में है, लेकिन अब जब चुनाव नजदीक आ रहे हैं और वे इन मुद्दों को उठाते हैं तो सरकार विरोधी प्रतिक्रिया दे रही है।
तेजस्वी का सरकार पर हमला
तेजस्वी यादव ने कहा, “सिर्फ ट्वीट करना ही काफी नहीं है। हम हर जगह जनता के बीच जाकर बता रहे हैं कि बिहार का असली हाल क्या है। पिछले 20 सालों में जो सरकारें बिहार पर राज कर रही हैं, उन्होंने क्या किया? शिक्षा की स्थिति, लोगों की कमाई, सिंचाई के साधन, स्वास्थ्य सुविधाएं, प्रति व्यक्ति आय और निवेश की स्थिति पर नजर डालिए। यह सब देखकर स्पष्ट होता है कि इन वर्षों में बिहार का विकास नहीं हो पाया।”
उन्होंने आगे कहा, “ये लोग पहले क्यों नहीं बोले? जब चुनाव का समय आता है, तो अचानक हमारी आलोचना करने लगते हैं। अब जब मैं बिहार के इन मुद्दों को उठा रहा हूं, तो ये लोग ऐसा कर रहे हैं। वे जनता को बेवकूफ समझ रहे हैं या खुद को? बिहार के लोग जागरूक हैं, हम उन्हें बेवकूफ नहीं बना सकते।”
बिहार के विकास में चुनौतियां
तेजस्वी के इस बयान से यह स्पष्ट होता है कि बिहार के विकास को लेकर सत्ताधारी दल की नीतियों पर सवाल उठ रहे हैं। शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि जैसे बुनियादी क्षेत्रों में सुधार न होना राज्य की आर्थिक और सामाजिक प्रगति के लिए चिंता का विषय है। प्रति व्यक्ति आय में कमी और निवेश की कमी से यह पता चलता है कि बिहार में रोजगार के अवसर सीमित हैं, जिससे युवा वर्ग निराश है।
चुनावी माहौल और राजद की रणनीति
बिहार में आगामी चुनाव को देखते हुए तेजस्वी यादव की यह टिप्पणी विपक्षी दलों की चुनावी रणनीति का हिस्सा भी लगती है। वे बिहार की जनता के बीच सरकार की कमियों को उजागर कर अपनी पार्टी की छवि मजबूत करना चाहते हैं। तेजस्वी लगातार बिहार के विभिन्न जिलों में जाकर जनता की समस्याएं सुन रहे हैं और सरकार की नाकामी को सामने ला रहे हैं।
तेजस्वी यादव का यह बयान बिहार की वर्तमान सरकार के लिए बड़ा राजनीतिक संकेत माना जा रहा है। बिहार के विकास के मुद्दे अब चुनावी बहस का केंद्र बन चुके हैं। आगामी चुनाव में बिहार की जनता इन मुद्दों को लेकर अपने वोटिंग फैसले करेगी। तेजस्वी यादव की ओर से उठाए गए सवाल और उनकी सक्रियता से यह साफ है कि वे बिहार में बदलाव की मांग कर रहे हैं और सरकार की नीतियों पर जनता का ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं।
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